India Becomes World’s 4th Largest Economy: भारत 24 मई को आधिकारिक तौर पर जापान को पीछे छोड़ते हुए दुनियां की चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन गया है। इसकी जानकारी नीति आयोग के CEO बी वी आर सुब्रह्मण्यम ने 24 मई को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में दी। अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष यानी IMF के आंकड़ों का जिक्र करते हुए सुब्रह्मण्यम ने कहा, “हम चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था हैं। हम 4 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था हैं। आज भारत जापान से बड़ा है। अब केवल अमेरिका, चीन और जर्मनी ही भारत से बड़े हैं।” नीति आयोग के CEO ने यह भी कहा कि अगर हम इसी तरह अपनी योजना और सोच-विचार पर टिके रहे, तो 2.5-3 साल में हम तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन जाएंगे।
IMF की अप्रैल 2025 की वर्ल्ड इकोनॉमिक आउटलुक रिपोर्ट के अनुसार, भारत की नॉमिनल जीडीपी 4.187 ट्रिलियन डॉलर तक पहुंच गई है, जो जापान की अनुमानित जीडीपी 4.186 ट्रिलियन डॉलर से थोड़ा ज्यादा है। भारत की यह उपलब्धि मजबूत घरेलू मांग, अनुकूल जनसांख्यिकीय रुझानों और नीतिगत सुधारों के कारण है। भारत की अर्थव्यवस्था 6-7% की एनुअल ग्रोथ रेट बनाए हुए है, जबकि जापान की अर्थव्यवस्था को ग्लोबल ट्रेड टेंशन और पॉलिसी चेंज के कारण नुकसान हुआ है।
2025 में IMF ने जापान की जीडीपी ग्रोथ रेट केवल 0.3% रहने की उम्मीद जताई है। जबकि भारत की जीडीपी 6.5% बताई गई है जो जापान की तुलना में बहुत ज्यादा है। जापान की जीडीपी के इतना कम होने का सबसे बडा कारण जापान की उम्रदराज आबादी और लो बर्थ रेट है। देश में कम युवा होने की वजह से जापान में लेबर फोर्स सीमित है। दूसरा सबसे बड़ा कारण अमेरिका और अन्य देशों द्वारा व्यापार पर लगाए गए टैरिफ हैं।
IMF और अन्य वैश्विक संस्थानों के अनुमानों के मुताबिक, अगर भारत की वर्तमान वृद्धि दर बनी रहती है, तो 2.5-3 वर्षों यानी 2028 तक भारत जर्मनी को पीछे छोड़कर दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन सकता है। वर्तमान में जर्मनी की जीडीपी 4.9 ट्रिलियन डॉलर है। विशेषज्ञों के अनुसार, 2027 तक भारत की जीडीपी 5 ट्रिलियन डॉलर और 2028 तक 5.58 ट्रिलियन डॉलर अनुमान जताया है। अगर भविष्य में भारत जर्मनी को भी पीछे छोड़ देता है तो भारत से आगे केवल दो देश अमेरिका (30.57 ट्रिलियन डॉलर) और चीन (19.231 ट्रिलियन डॉलर) ही रहेंगे।
भारत की जीडीपी तो जापान से अधिक हो गई है, लेकिन भारत प्रति व्यक्ति आय मामले में जापान से अभी बहुत पीछे है। भारत की प्रति व्यक्ति आय महज $2,880 (करीब ₹2.4 लाख) है, जबकि जापान की प्रति व्यक्ति आय $33,900 (करीब ₹28 लाख) है। इसका सीधा मतलब यह हुआ कि भारत की बढ़ी अर्थव्यवस्था का असर आम नागरिकों तक नहीं पहुंचा। इसका असर कुछ चुनिंदा क्षेत्रों और व्यक्तियों तक ही सीमित रह गया है।